संगीनों के साए में संपन्न हुई ब्रजमंडल यात्रा,400 से ज्यादा शिव भक्त हुए शामिल
हिंसा के आशंका मद्देनजर प्रशासन ने यहां सोमवार शाम 6 बजे तक इंटरनेट बंद किया था और यात्रा के खत्म होने के बाद ही इंटरनेट चालू कर दिया गया। नूंह में 2 हजार पुलिसकर्मियों की तैनाती की गई। अरावली की पहाड़ियों की ड्रोन के जरिए निगरानी रखी गई। यात्रा को दोनों तरफ से पुलिस ने सिक्योरिटी कवर दिया। नूंह मे घरों,पहाडियों और संदिग्ध स्थानों पर पुलिसकर्मियों को तैनात किया गया था।
Gurugram News Network-सावन के पहले सोमवार को बृजमंडल जलाभिषेक यात्रा को लेकर श्रद्धालुओं में काफी जोश देखने को मिला। सावन के पहले सोमवार को यात्रा सुबह दस बजे सेक्टर-10ए स्थित राधा-कृष्ण मंदिर से शुरू हुई। मंदिर में पूजा अर्चना और शंख बजाकर यात्रा नूंह के लिए रवाना हुई। इस दौरान सेक्टर-10ए सहित पूरे रूट पर सुरक्षा के पुख्ता इंतजाम रहे। यात्रा के साथ पुलिस भी साथ-साथ चली। इसके अलावा पूरे रूट पर सुरक्षा के पूरे इंतजाम गुरुग्राम पुलिस की तरफ से किए गए थे।
यात्रा दोपहर बाद मंदिर में जलाभिषेक के बाद शुरू हुई।इसके बाद पुलिस की गाड़ियों के साथ साधु संतों और श्रद्धालुओं का काफिला फिरोजपुर झिरका के झिरकेश्वर मंदिर और फिर पुन्हाना के सिंगार श्रृंगेश्वर महादेव मंदिर पहुंचा और यहां पर यात्रा संपन्न हुई। इस दौरान कोई उपद्रव की खबर सामने नहीं आई। 80 किलोमीटर लंबी यात्रा के लिए प्रशासन की तरफ से पांच घंटे का समय तय किया गया,जबकि यात्रा चार घंटे में ही पूरी हो गई।
हिंसा के आशंका मद्देनजर प्रशासन ने यहां सोमवार शाम 6 बजे तक इंटरनेट बंद किया था और यात्रा के खत्म होने के बाद ही इंटरनेट चालू कर दिया गया। नूंह में 2 हजार पुलिसकर्मियों की तैनाती की गई। अरावली की पहाड़ियों की ड्रोन के जरिए निगरानी रखी गई। यात्रा को दोनों तरफ से पुलिस ने सिक्योरिटी कवर दिया। नूंह मे घरों,पहाडियों और संदिग्ध स्थानों पर पुलिसकर्मियों को तैनात किया गया था।
यात्रा के दौरान नूंह में कई जगह यात्रा में शामिल लोगों का स्वागत भी किया गया। इस यात्रा से दोनों समुदाय के बीच आपसी भाई-चारा भी दोबारा से कायम करने की पहल भी शुरू हो गई। 80 किलोमीटर की यात्रा में किसी प्रकार का कोई विवाद नहीं हुआ।
बता दे कि बीते साल 31 जुलाई को बृजमंडल यात्रा निकाली गई थी। तब नूंह में उपद्रवियों के द्वारा हमला कर दिया गया था और भाईचारा बिगाड़ने की कोशिश की गई थी। यात्रा में शामिल लोगों पर पथराव के साथ-साथ आगजनी भी की गई थी। इस घटना में सैंकडों लोग गंभीर रूप से घायल हुए थे। इस बार यात्रा शांति पूर्वक संपन्न हुई।